भारत में इलेक्ट्रिक कुकिंग में बदलाव के लिए तेजी: ई-कुकिंग परिवर्तन के लिए उपभोक्ता-केंद्रित दृष्टिकोण की संभावनाओं का पता लगाने के लिए विश्व पर्यावरण दिवस पर सम्मेलन का आयोजन
भारत में इलेक्ट्रिक कुकिंग में बदलाव के लिए तेजी: ई-कुकिंग परिवर्तन के लिए उपभोक्ता-केंद्रित दृष्टिकोण की संभावनाओं का पता लगाने के लिए विश्व पर्यावरण दिवस पर सम्मेलन का आयोजन
5 जून, 2023 को विश्व पर्यावरण दिवस के अवसर पर नई दिल्ली में भारत सरकार “ई-कुकिंग रूपान्तरण के लिए उपभोक्ता-केंद्रित दृष्टिकोण पर एक सम्मेलन” का आयोजन कर रही है। इस सम्मेलन में ऊर्जा कुशल, स्वच्छ और किफायती ई-कुकिंग समाधानों का पता लगाने के लिए विचार-विमर्श किया जाएगा। सम्मेलन का आयोजन भारत सरकार के विद्युत मंत्रालय का ऊर्जा दक्षता ब्यूरो (बीईई) क्लास्प (CLASP) के सहयोग से कर रहा है। सम्मेलन में संस्थागत उपभोक्ता, उपभोक्ता अनुसंधान समूह, नीति निर्माता, थिंक टैंक, निर्माता और अन्य समर्थक भाग लेंगे और ई-कुकिंग के लिए रणनीति पर चर्चा करेंगे।
मिशन लाइफ की कुंजी – ई-कुकिंग
ई-कुकिंग इस मान्यता पर आधारित है कि यह मिशन लाइफ (लाइफस्टाइल फॉर एनवायरनमेंट-पर्यावरण के लिए जीवन-शाली) तक पहुंचने का एक प्रमुख मार्ग है, जो पर्यावरण की रक्षा और संरक्षण के लिए व्यक्तिगत और सामुदायिक कार्रवाई को प्रेरित करने के लिए भारत के नेतृत्व वाला वैश्विक जन आंदोलन है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने वर्ष 2021 में ग्लासगो में 26वें संयुक्त राष्ट्र जलवायु परिवर्तन सम्मेलन (सीओपी26) में इसका शुभारम्भ किया था। मिशन लाइफ व्यक्तियों को पृथ्वी के अनुकूल जीवन-शैली में बदलना चाहता है, जिससे लोग पर्यावरण और पृथ्वी के अनुकूल स्वस्थ जीवन-शैली को अपनाएं।
स्वच्छ खाना पकाने की ऊर्जा तक पहुंच, भारत की ऊर्जा परिवर्तन यात्रा का महत्वपूर्ण पहलू है। खाना पकाने के ईंधन के संबंध में हम जो विकल्प चुनते हैं, वे एक स्थायी अर्थव्यवस्था बनने की दिशा में भारत के पथ पर महत्वपूर्ण प्रभाव डाल सकते हैं। भारत के स्वच्छ खाना पकाने के रूपान्तरण के लिए ऊर्जा खपत को चलाने वाले व्यक्तिगत और सामुदायिक कार्यों और निर्णयों पर पुनर्विचार करने की आवश्यकता है।
स्वच्छ खाना पकाने पर सरकार की प्राथमिकता पर विद्युत मंत्रालय के अपर सचिव, श्री अजय तिवारी ने कहा कि “स्वच्छ खाना पकाने के स्वास्थ्य, आर्थिक और पर्यावरणीय लाभों को पहचानते हुए, भारत सरकार ने उन नीतियों को प्राथमिकता दी है जो स्वच्छ खाना पकाने के ईंधन को बढ़ावा देती हैं। विद्युतीकरण पर सरकार द्वारा विशिष्ट कार्यों के साथ-साथ अक्षय ऊर्जा से उत्पन्न होने वाली बिजली की आपूर्ति की बढ़ोतरी के साथ ई-कुकिंग समाधान भारत को जलवायु-अनुकूल, स्वस्थ और संवहनीय भविष्य की ओर ले जाने का सुअवसर प्रदान करते हैं।”
“ऊर्जा-कुशल और सस्ते स्वच्छ खाना पकाने के उत्पादों को व्यापक रूप से अपनाने के लिए प्रोत्साहित करने का समय”
अपर सचिव श्री अजय तिवारी ने बताया कि इंडक्शन कुकस्टोव के लिए दक्षता नीति के साथ, अगला महत्वपूर्ण कदम कुशल और किफायती उत्पादों को व्यापक रूप से अपनाने के लिए प्रोत्साहित करना है। “ई-कुकिंग परिवर्तन शैली में, उपभोक्ताओं को रणनीति के केंद्र में रखना चाहिए। उपभोक्ताओं की आवश्यकताओं को समझना और उन्हें एक जन-आंदोलन में भागीदार बनाना इस परिवर्तन का मूल भाव होना चाहिए।