कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय के सहयोग से जैविक कपास उत्पादन को बढ़ावा दिया जाएगा
केंद्रीय वस्त्र मंत्री श्री पीयूष गोयल ने कपास मूल्य श्रृंखला की पहल की समीक्षा के लिए राजकोट में वस्त्र सलाहकार समूह के साथ छठी संवाद बैठक की
“कस्तूरी कॉटन इंडिया” का पता लगाने की क्षमता, प्रमाणन और ब्रांडिंग पर परियोजना शुरू की गई
कपास की उत्पादकता बढ़ाने को लेकर समग्र योजना के लिए एनएफएसएम के तहत केंद्र सरकार की ओर से 41.87 करोड़ रुपये के वित्तपोषण के लिए अंतिम स्वीकृति दी गई
कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय के सहयोग से जैविक कपास उत्पादन को बढ़ावा दिया जाएगा
माननीय केंद्रीय वस्त्र, वाणिज्य एवं उद्योग और उपभोक्ता कार्य तथा खाद्य एवं सार्वजनिक वितरण मंत्री श्री पीयूष गोयल ने कपास मूल्य श्रृंखला पहल की प्रगति की समीक्षा के लिए 22 अप्रैल, 2023 को वस्त्र सलाहकार समूह (टीएजी) के साथ छठी इंटरैक्टिव बैठक की अध्यक्षता की। इसे ‘एक भारत श्रेष्ठ भारत’ पहल के तहत, सौराष्ट्र तमिल संगम के हिस्से के रूप में गुजरात के राजकोट में आयोजित किया जा रहा है।
श्री पीयूष गोयल ने कस्तूरी कॉटन इंडिया की ट्रेसबिलिटी, प्रमाणन और ब्रांडिंग पर परियोजना में हुई प्रगति के बारे में बताते हुए इस बात की सराहना की कि भारतीय कपास की ब्रांडिंग किसानों से लेकर अंतिम उपयोगकर्ताओं तक संपूर्ण कपास मूल्य श्रृंखला में बहुत अधिक संवर्धन करेगी।
उन्होंने बताया कि भारतीय कपास की गुणवत्ता किसानों और उद्योग दोनों के लिए फायदेमंद है। संचालन समिति और शीर्ष समिति की बैठकें हो चुकी हैं और परियोजना के लिए धन जारी कर दिया गया है और कस्तूरी इंडिया कॉटन की ट्रेसबिलिटी, प्रमाणन और ब्रांडिंग पर काम शुरू हो गया है।
उन्होंने टेक्सप्रोसिल से घरेलू और अंतरराष्ट्रीय बाजारों में कस्तूरी कपास को प्रीमियम कपास के रूप में ब्रांडिंग करने के लिए जोरदार प्रयास करने की अपील की।
एचडीपीएस, क्लोजर स्पेसिंग और ईएलएस की तकनीक को लक्षित करके कपास की उत्पादकता बढ़ाने के लिए समग्र योजना के लिए एनएफएसएम के तहत कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय से 4186.85 लाख रुपये के वित्तपोषण की अंतिम मंजूरी प्राप्त की गई। राजस्थान में गांवों/ किसानों की क्लस्टर-वार पहचान को अंतिम रूप दे दिया गया है और शेष सभी कपास उत्पादक राज्यों में भी यह प्रगति पर है, जहां आगामी कपास सीजन 2023-24 के लिए बुवाई की जाएगी।
श्री गोयल ने जैविक कपास के लिए प्रमाणन प्रणाली को मजबूत करने की आवश्यकता पर जोर दिया और कपास के किसानों के बीच जैविक कपास उत्पादन को बढ़ावा देने में सक्रिय भागीदारी के लिए उद्योग से अनुरोध किया। श्री गोयल ने क्लस्टर आधारित दृष्टिकोण पर जैविक कपास उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए विस्तृत कार्ययोजना बनाने के लिए विशेषज्ञों, उद्योग के प्रतिनिधियों, संबंधित मंत्रालयों और अन्य हितधारकों का एक कार्यसमूह बनाने की सलाह दी।
माननीय वस्त्र और रेलवे राज्य मंत्री श्रीमती दर्शना वी. जरदोश और टीएजी के अध्यक्ष श्री सुरेश कोटक ने भी टीएजी बैठक का मार्गदर्शन किया।
वस्त्र मंत्रालय की सचिव श्रीमती रचना शाह ने कॉटन टेक्सटाइल वैल्यू चेन में खेत से विदेश तक पांच एफ के माननीय प्रधानमंत्री के सपने को साकार करने के लिए उत्पादकों को लाभकारी आए प्रदान करने को लेकर कपास मूल्य श्रृंखला के सभी हितधारकों से एकजुट तरीके से मिलकर काम करने और कॉटन में वर्चस्व हासिल करने की अपील की।
बैठक के दौरान कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय, सीसीआई, एपीडा, बीआईएस के प्रतिनिधि, संबंधित मंत्रालयों के अन्य वरिष्ठ अधिकारी और संपूर्ण कपास मूल्य श्रृंखला के हितधारक भी उपस्थित थे।