कलम बिलख कर रो रही, संकट में है आज। नैतिक शिक्षा हीन हैं गड़बड़ सारा राज।
गीत
विषय-
सत्य घटना पर आधारित
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कलम बिलख कर रो रही,
संकट में है आज।
नैतिक शिक्षा हीन हैं
गड़बड़ सारा राज।
1-
पागल जैसे हाल हैं,
गायब इनका ज्ञान।
मनके अंदर पाप है,
भीतर है अभिमान।।
वाणी तीखी मिर्च सी,
हरकत जैसें खाज।
नैतिक शिक्षा—-
2-
घटना देखी मौदहा,
पुलिस बड़ी नाराज।
कलम छीनके बोलते,
इसका क्या है काज।।
गरजें साहब शेर से,
हरकत जैसें वाज।
नैतिक शिक्षा—-
3-
मोहित मिश्रा बोलते,
आफत में है जान।
नहीं बोलते ठीक से,
गर्मी जैसे भान।।
लड़ते साहब ढोर से,
धूमिल करते ताज।
नैतिक शिक्षा—-
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प्रभुपग धूल
लक्ष्मी कान्त सोनी
महोबा
उत्तर प्रदेश