इस तरह सोचा न था ये खबर आयेगी मौत का पैगाम अपने साथ में लायेगी
इस तरह सोचा न था ये खबर आयेगी
मौत का पैगाम अपने साथ में लायेगी
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🌹नियति🌹
जो सोचे हम भला कहां कब वो होता है
होता वही जो नियति ने तय किया होता है
किसी के प्राणों का दिया बुझ कर जल गया होता है
कहीं जला हुआ दिया बिना हवाओं के बुझ गया होता है ।
होता वहीं जो नियति ने तय …………….
निकले थे बड़े ठाठ से वह अपने काम में
क्या पता था वह जा रहे हैं जिंदगी के
लंबे आराम में कहीं दुर्घटनाओं से तो
कहीं दुर भावनाओं का पाला होता है ।
होता वही जो नियत ने तय ………….
शोहरत इज्जत दौलत थी सब कमाई
नियत ने कैसी क्रूरता दिखाई
दौलत भी नहीं है काम आई
छोड़ दुनिया जिस पल कोई चल रहा होता है ।
होता वही जो नियत ने तय …………….
किसे पता था कि यह बचकर आएगा
मौत के मुंह से जिंदगी खींच कर लाएगा
यह भी तो नियति थी जब कोई कठिन
समय से आगे यूँ निकल रहा होता है ।
होता वही जो नियत तय ……………….
हम सब हैं भगवान के बनाये पुतले
निश्चिय तय सबका इक दिन जाना
लेकिन अनहोनी की जंग जो हारा
निश्चित नियति ने फैसला किया होता है ।
होता वही जो नियत ने तय …………….
✍️स्वरचित – रश्मि शुक्ल रीवा (म.प्र)