बजट 2 021-22 सभी वर्गों को स्पर्श करता हुआ सर्वहितकारी बजट है
बजट 2 021-22 सभी वर्गों को स्पर्श करता हुआ सर्वहितकारी बजट है
आकांक्षी भारत की आवश्यक जरूरतों को पूरा करने के लिए पूर्ण रूप से प्रतिबद्ध बजट – डॉ. महेन्द्र नाथ पाण्डेय
माननीय कौशल विकास और उद्यमशीलता मंत्री डॉ. महेन्द्र नाथ पाण्डेय ने वर्ष 2021-22 के केंद्रीय बजट के प्रति अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा है कि माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में और माननीय वित्तमंत्री श्रीमती निर्मला सीतारमण की पहल पर भारत ने आर्थिक विकास की दिशा में एक नई सोच के साथ आगे बढ़ने का संकल्प किया है। वर्ष 2021-22 के केन्द्रीय बजट में ऐसे अनेक कदम उठाए गए हैं जो न सिर्फ देश की अर्थव्यवस्था को वर्तमान में एक नई गति देंगे बल्कि देश को आने वाले भविष्य के लिए तैयार करते हुए लाभान्वित करेंगे। यह बजट युवाओं, किसानों एवं महिलाओं सहित सभी वर्गों को स्पर्श करता हुआ सर्वहितकारी बजट है। इस बजट के द्वारा समाज के सभी हिस्सों को रोज़गार, स्वास्थ्य एव शिक्षा की आसान पहुंच और एक अच्छा जीवन स्तर दिये जाने की परिकल्पना साकार होगी। यह बजट पूर्ण रुप से एक ‘आत्मनिर्भर भारत का बजट है।
माननीय मंत्री डॉ. महेन्द्र नाथ पाण्डेय का कहना है कि भारत सरकार ने इस बजट के माध्यम से देश में परिवहन सुविधाओं के लिए बड़े सुधार करने की दिशा में कदम उठाए हैं। इसी क्रम में 18,000 करोड़ रुपये की योजनाओं द्वारा शहरी क्षेत्रों में सार्वजनिक बस परिवहन सेवाओं को मजबूत किया जाएगा। भारतीय रेलवे के पूँजीगत व्यय के लिए 1 लाख 7 हजार करोड़ रुपए प्रस्तावित किए गए हैं। इसके साथ ही 8,500 किलोमीटर हाइवे इन्फ्रास्ट्रक्चर का कार्य मार्च 2022 तक किया जाएगा। सड़क परिवहन और राजमार्ग के लिए 1,18,101 करोड़ रुपए के बजट द्वारा भारत सरकार परिवहन सुविधाओं के उच्च मानकीकरण के लिए प्रतिबद्ध है।
माननीय मंत्री डॉ. महेन्द्र नाथ पाण्डेय ने यह भी कहा है कि देश के आम आदमी को अच्छे से अच्छा स्वास्थ्य मिल सके इसके लिए बजट में बड़े सुधार किए गए हैं। पिछले वर्ष की अपेक्षा 137% की वृद्धि करते हुए स्वास्थ्य परिव्यय को 2,23,846 करोड़ रुपए तक बढ़ाया गया है। कोरोना को हराने की इस जंग में कोविड वैक्सीन के लिए केंद्रीय सरकार का बजट 35,000 करोड़ किया गया है। एक लाख से अधिक आबादी वाले 42 शहरों में वायु प्रदूषण से निपटने के लिए 2,217 करोड़ रुपए का आवंटन किया गया है।
कौशल विकास एवं उद्यमशीलता मंत्रालय के तत्वाधान में भारत की संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) के साथ, प्रमाणित कार्यबल की तैनाती के लिए कौशल योग्यता, मूल्यांकन और प्रमाणन हेतु साझेदारी की एक पहल चल रही है। भारत और जापान के बीच एक सहयोगी ट्रेनिंग इंटर ट्रेनिंग प्रोग्राम (TITP) भी जारी है। माननीय मंत्री डॉ. महेन्द्र नाथ पाण्डेय का कहना है कि हम आने वाले भविष्य में कई और देशों के साथ इस पहल को आगे बढ़ाएंगे। इससे देश ही नहीं विदेश में भी कौशल एवं रोज़गार की दिशा में युवाओं को नित नए अवसर मिलेंगे।
माननीय मंत्री डॉ. महेन्द्र नाथ पाण्डेय ने इस बजट में टेक्सटाइल सेक्टर में विश्व स्तरीय इन्फ्रास्ट्रक्चर बनाने के लिए, प्लग-एंड-प्ले सुविधाओं के साथ, मेगा इनवेस्टमेंट टेक्सटाइल पार्कों की योजना की शुरूआत की प्रशंसा की है। उनके अनुसार यह रोज़गार उत्पादन एवं की दिशा में बहुत ही उपयोगी सिद्ध होगा।
असंगठित श्रम बल प्रवासी श्रमिकों हेतु प्रयासों को आगे बढ़ाने के लिए, लॉन्च किए जा रहे पोर्टल पर माननीय मंत्री डॉ. महेन्द्र नाथ पाण्डेय ने कहा है कि इससे प्रवासी श्रमिकों के लिए स्वास्थ्य, आवास, कौशल, बीमा, क्रेडिट और खाद्य योजनाओं को तैयार करने में मदद मिलेगी वह बहुत ही महत्वपूर्ण है।
माननीय मंत्री डॉ. महेन्द्र नाथ पाण्डेय के अनुसार यह बजट दर्शाता है कि माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के नेतृत्व में भारत सरकार, देश के अन्नदाता किसानों को सशक्त बनाने के लिए कृतसंकल्पित है। इस बजट के द्वारा 5,000 करोड़ रुपए का अतिरिक्त आवंटन किसानों को आत्मनिर्भर बनाने की नई राह लेकर आया है। इस बजट के द्वारा किसानों को अधिक कृषि ऋण उपलब्ध कराने का लक्ष्य रखा गया है। इस बजट में यह लक्ष्य 15 लाख करोड़ रुपये से बढ़ाकर 16.5 लाख करोड़ रुपये कर दिया गया है। माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी का एमएसपी के प्रति कमिटमेंट ही है जिसके कारण इस वर्ष धान की फसल की एमएसपी पर खरीद लगभग दोगुनी हो गई है। देश के लगभग 1.5 करोड़ किसानों को इसका लाभ मिला है। देश में सभी फसलों पर उत्पादन लागत की कम से कम 1.5 गुना अधिक एमएसपी दी जा रही है। भारत का अन्नदाता पूरी तरह से आत्मनिर्भर हो और उनकी आय दुगनी हो, इसके लिए भारत सरकार के ये प्रयास बहुत ही सार्थक सिद्ध होंगे।
माननीय मंत्री डॉ. महेन्द्र नाथ पाण्डेय ने इन सभी विषयों के साथ अनेक मुख्य बिन्दुओं को देखते हुए इस केन्द्रीय बजट को एक आकांक्षी भारत की आवश्यक जरूरतों को पूरा करने के लिए पूर्ण रूप से प्रतिबद्ध बजट बताया है। उनका कहना है कि इस बजट के माध्यम से अनेक परियोजनाओं में किया जा रहा निवेश देश के युवाओं के सपनों को साकार करते हुए भारत को वैश्विक नेतृत्व के लिए तैयार करेगा।