राष्ट्रीय पोलियो टीकाकरण अभियान की देशभर में शुरुआत
राष्ट्रीय पोलियो टीकाकरण अभियान की देशभर में शुरुआत
पांच वर्ष से कम उम्र के लगभग 89 लाख बच्चोंकोपोलियोकी दवा पिलाई गई
सात लाख बूथों पर 12 लाख टीकाकरण कार्यकर्ताओंऔर 1.8 लाख पर्यवेक्षकों की तैनाती के बीच टीकाकरण
राष्ट्रपति रामनाथ कोविन्द ने कल 30 जनवरी 2021 को राष्ट्रपति भवन में पांच वर्ष से कम उम्र के बच्चों को पोलियो की दवा पिलाकर 2021 के राष्ट्रीय पोलियो प्रतिरक्षण दिवस की शुरुआत की।
आज राष्ट्रीय पोलियोप्रतिरक्षण दिवस है जिसे ‘पोलियोरविवार’ भी कहा जाता है। पहले दिन की अंतरिम रिपोर्ट के अनुसार आज पांच वर्ष से कम आयु के लगभग 89 लाख बच्चों (अस्थायी आंकड़ा) कोपोलियो की दवा पिलाई गई। करीब सात लाख बूथों पर पोलियो खुराक दी गई जिनमें लगभग 12 लाख टीकाकरण कार्यकर्ता और 1.8 लाख पर्यवेक्षक तैनात थे।
बूथों पर टीकाकरण के बाद अगले दो से पांच दिनों तक घर-घर जाकर पहले दिन बूथों पर पोलियो खुराक लेने नहीं आ सके बच्चों की पहचान और उनका टीकाकरण किया जाएगा। बस अड्डों, रेलवे स्टेशनों, हवाईअड्डोंऔर जल मार्गों पर भी टीकाकरण दलोंको तैनात किया गया है जिससे यात्रा कर रहे बच्चोंकोपोलियो खुराक देकर यह सुनिश्चित किया जा सके कि कोई भी बच्चा जीवन रक्षक पोलियो खुराक से वंचित न रहे।
कोविड-19 महामारी को देखते हुए सुरक्षित टीकाकरण सुनिश्चित करने के लिए इसके अनुकूल सभी कदम उठाए गए हैं जैसे कि बूथों पर भीड़ जमा न होने देना, दो मीटर की दूरी बनाकर रखना, मास्क पहनना, हाथ धोनाऔर हवादार वातावरण में पोलियो खुराक पिलाना।
राष्ट्रीय प्रतिरक्षण दिवस की पूर्व संध्या पर आयोजित कार्यक्रम कोसंबोधित करते हुए केन्द्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रीडॉ. हर्षवर्धन ने कहा, “दस वर्षों तक पोलियो मुक्त दर्जा बनाकर रखना भारत के जन स्वास्थ्य के इतिहास में बहुत बड़ी उपलब्धिहै।“उन्होंनेऐसी बीमारी जिससे टीकाकरण से बचा जा सकता हो उससे किसी बच्चे के प्रभावित न होनेको सुनिश्चित करने के लिए सरकार द्वारा नियमित टीकाकरण को सुदृढ़ करने के प्रयासोंऔरकार्योंको रेखांकित किया।
भारत एक दशक से पोलियो मुक्त बना हुआ है। पोलियो का अंतिम मामला 13 जनवरी 2011 को सामने आया था। हालांकि भारत पड़ोसीदेशों अफगानिस्तान और पाकिस्तान से पोलियो वायरस के देश में दोबारा प्रवेश करने को लेकर लगातार सतर्कता बरत रहा है।
भारत वाइल्ड पोलियो वायरस से देश की आबादी की प्रतिरोधक क्षमता और देश का पोलियो मुक्त दर्जा बनाकर रखने के लिए प्रत्येक वर्ष पोलियो के लिए एक देशव्यापी राष्ट्रीय प्रतिरक्षण दिवस औरदो उप-राष्ट्रीय स्तर के राष्ट्रीय प्रतिरक्षण दिवस आयोजित करता है।