श्रम और रोजगार मंत्रालय द्वारा गणतंत्र दिवस परेड में प्रस्तुत की जाने वाली झांकी हालिया ऐतिहासिक श्रम सुधारों को चित्रित करती है
श्रम और रोजगार मंत्रालय द्वारा गणतंत्र दिवस परेड में प्रस्तुत की जाने वाली झांकी हालिया ऐतिहासिक श्रम सुधारों को चित्रित करती है
श्रम और रोजगार मंत्रालय ने इस साल की गणतंत्र दिवस परेड के लिए एक परेड झांकी तैयार की है। यह झांकी हाल के दिनों में सरकार द्वारा लाए गए ऐतिहासिक श्रम सुधारों को चित्रित करेगी। झांकी का विषय “मेहनत को सम्मान, अधिकार एक समान” जो “रेस्पेक्ट फॉर हार्ड वर्क एंड इक्वल राइट्स फॉर ऑल” का अनुवाद है।
यह झांकी उस परिवर्तन को चित्रित करती है जो हालिया लेबर कोड के कार्यान्वयन के बाद संगठित और असंगठित श्रमिकों के जीवन में आएगा। इस डिजाइन के पीछे की सोच श्रमिकों के सर्वांगीण कल्याण और सुरक्षा है।
झांकी के आगे का भाग एक बहुत ही आत्मविश्वास और सशक्त कामगार को चित्रित करती एक विशाल संरचना है, जो एक उपकरण पकड़े हुए और पथ का नेतृत्व करता दिखाई दे रहा है। उसके सिर पर एक पीले रंग की सुरक्षा टोपी सामाजिक सुरक्षा, मजदूरी सुरक्षा और स्वास्थ्य सुरक्षा को चित्रित करती है, जो कि श्रम सुधार के तहत प्रदान की गई है।
झांकी का मध्य भाग विभिन्न उद्योगों के श्रमिकों को प्रदर्शित करता है। इस हिस्से में मोबाइल ऐप है जो कि डीबीटी (डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर) सुविधा को प्रदर्शित करता है। इस हिस्से में एक चिकित्सा सहायता भी दिखाया गया है, जिसमें लिखा है, “स्वस्थ श्रमिक, स्वच्छ भारत”, जिसका अर्थ है स्वस्थ कामगार। यह श्रमिकों को दी जा रही चिकित्सा और वित्तीय सुरक्षा को उजागर करता है।
झांकी के पीछे के हिस्से में श्रमिकों को एक बड़े पीले हेलमेट के नीचे आश्रय लेते दिखाया गया है, जिस पर “सेफ्टी फर्स्ट” लिखा हुआ है। पहिये चौबीसों घंटे उपलब्ध होने वाले सामाजिक सुरक्षा और स्वच्छ कार्य वातावरण के संदेश देते हैं। झांकी के साथ, मंच कार्यकर्ता और कलाकार डिलिवरी बॉय, कार्गो कैरियर आदि को दर्शाएंगे।